झूठ बोलना तो हम बचपन
से ही सीख गए थे.....
जब प्रिंसिपल और टीचर हमें बिलकुल
पसंद नहीं थे.....
फिर भी हम,
""आपकी/आपका आज्ञाकारी""
लिखते थे.....😂😂😂😂😂
बचपन में मैं भी जब कोई गलती कर देता था और पिटने के आसार नजर आने लगते थे तो तुरंत किताब खोल के बैठ जाता था! वो बात अलग है कि कुटाई फिर भी होती थी। - जामिया लाइब्रेरी कांड